जानिए, मानसून में होने वाली बिमारियों के लक्षण और उपचार
सीजनल डिजीज
बारिश का मौसम एक ओर जहां हमें गर्मी से राहत देता है, वहीं इस मौसम में स्वास्थ्य संबंधी कई परेशानियों के होने का खतरा भी बना रहता है। बरसात के मौसम में नमी होने के कारण मच्छर, वायरस, बैक्टीरिया खूब पनपते हैं। इस वजह से इन दिनों कई सारी बीमारियों के होने की आशंका बनी रहती है। ऐसे में थोड़ी सावधानी बरतकर हम बीमार होने से बच सकते हैं। जानते हैं, इस मौसम में होने वाली बीमारियां, उनके लक्षण और बचाव के उपाय।
कोल्ड और फ्लू
तेज धूप के बाद बरसात होने और वातावरण में नमी के कारण, इन दिनों सर्दी-बुखार (कोल्ड और फ्लू) होने की बहुत ज्यादा संभावना रहती हैं। यह परेशानी तीन दिन से लेकर एक हफ्ते तक बनी रह सकती है।
लक्षण
बुखार आना, नाक बहना, खांसी या गले में खराश होना, सिरदर्द, बदन दर्द, थकान होना कोल्ड और फ्लू के लक्षण हैं।
बचाव
बारिश में भीगने से बचें। घर से बाहर जाते समय रेनकोट और छाता हमेशा अपने साथ रखें। बारिश में भीग जाने पर एसी वाले कमरे में ना रहें। बैलेंस्ड डाइट लें। इससे आपका इम्यून सिस्टम मजबूत होगा और आप इंफेक्शन से बचे रहेंगे।
मच्छर के काटने से होने वाली बीमारियां
इस मौसम में मच्छरों का प्रकोप बढ़ जाता है। इनके काटने से चिकुनगुनिया, डेंगु और मलेरिया होने का खतरा बना रहता है।
चिकुनगुनिया
यह बीमारी एडिस मच्छर के काटने से होता है। यह मच्छर दिन के समय काटता है। इस मच्छर के काटने से हम चिकुनगुनिया के शिकार हो जाते हैं। इसमें पेशेंट को तेज बुखार हो जाता है। इस बुखार के लक्षण डेंगू बुखार के समान ही होते हैं। लापरवाही बरतने पर इस बुखार को ठीक होने में महीनों का समय भी लग सकता है। इसलिए इसके होने पर खानपान और आराम का पूरा ध्यान रखना होता है। हालांकि यह बुखार जानलेवा नहीं है।
लक्षण
जोड़ों में दर्द और सूजन होना, सिरदर्द, थकान, उल्टी, बुखार के साथ शरीर में चकत्ते निकलना इस बीमारी के लक्षण हैं।
बचाव
इस बीमारी से बचने के लिए खुद को मच्छर काटने से बचाकर रखें।